
पूर्वी सिंहभूम,15 मई । राज्यपाल संतोष कुमार गंगवार ने गुरुवार को पूर्वी सिंहभूम (जमशेदपुर) जिलान्तर्गत चाकुलिया प्रखण्ड के भालुकबिंधा गांव में स्वतंत्रता सेनानी चानकु महतो की प्रतिमा का अनावरण किया। अनावरण के उपरांत राज्यपाल ने वीर शहीद चानकु महतो के साहस और बलिदान को नमन किया और कहा कि यह प्रतिमा केवल एक मूर्ति नहीं, बल्कि इतिहास की जीवंत स्मृति है, जो आने वाली पीढ़ियों को देशभक्ति की प्रेरणा देती रहेगी। उन्होंने कहा कि चानकु महतो न केवल एक महान स्वतंत्रता सेनानी थे, बल्कि अधिकारों की रक्षा के लिए जनचेतना के अग्रदूत भी थे।
राज्यपाल ने कहा कि चानकु महतो के प्रसिद्ध नारे “आपोन माटी आपोन दाना, पेट काटी निही देबञ खजाना “को उद्धृत करते हुए उनके नेतृत्व में संताल परगना में हुए आंदोलन को हूल क्रांति से पूर्व की बड़ी जनक्रांति बताया। उन्होंने कहा कि वीर चानकु महतो ने अपने साथियों के साथ मिलकर संगठित आंदोलन प्रारंभ किया। ऐतिहासिक हूल क्रान्ति में भी सिदो-कान्हु के नेतृत्व में सक्रिय रूप से भाग लिया। उन्होंने यह भी कहा कि उन्हें साहेबगंज जिलान्तर्गत भोगनाडीह में वीर सिदो-कान्हु की जन्मस्थली जाने का सौभाग्य प्राप्त हुआ तथा वहां वे उनके वंशजों से भी मिले।
राज्यपाल ने स्वतंत्रता सेनानियों की विरासत को संजोने की आवश्यकता पर बल देते हुए विश्वविद्यालयों के छात्र-छात्राओं से आह्वान किया कि वे इन महापुरुषों के गावों में जाकर शोध करें और उनके योगदान को इतिहास में उचित स्थान दिलाने के लिए प्रयास करें। राज्यपाल ने वीर शहीद चानकु महतो स्मारक समिति को इस सराहनीय पहल के लिए बधाई दी और कहा कि यह प्रतिमा आने वाली पीढ़ियों को राष्ट्रप्रेम की प्रेरणा देती रहेगी।
राज्यपाल ने हाल ही में हुए पहलगाम आतंकी हमले का उल्लेख करते हुए कहा कि इस घटना ने पूरे देश को आक्रोश से भर दिया था। निर्दोष-मासूम नागरिकों को धर्म पूछकर, उनके परिवार और बच्चों के सामने बेरहमी से मार डाला। प्रधानमंत्री ने बहुत ही स्पष्ट शब्दों में कहा था कि इस आतंकी हमले के जिम्मेदार आतंकियों और साजिशकर्ताओं को उनकी कल्पना से भी बड़ी सजा दी जाएगी।
उन्होंने कहा कि ‘ऑपरेशन सिंदूर’ के तहत भारत की सेनाओं ने पाकिस्तान में आतंक के ठिकानों पर, उनके ट्रेनिंग सेंटर्स पर सटीक प्रहार किया और दिखा दिया कि यह नया भारत है। यह भारत शांति चाहता है, लेकिन अगर मानवता पर हमला होता है, तो भारत युद्ध के मैदान में दुश्मन को कुचलना भी जानता है। हमारा देश किसी को छेड़ता नहीं है, लेकिन अगर कोई हमें छेड़े, तो हम उसे छोड़ते भी नहीं हैं।