भोपाल, 26 अप्रैल। केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने दिग्विजय सिंह पर जमकर हमला बोलते हुए कहा कि अब दिग्विजय सिंह की राजनीति से परमानेंट विदाई देने का समय आ गया है। दिग्विजय सिंह की विदाई आपको करनी है। आशिक का जनाजा है, जरा धूम से निकले।
केन्द्रीय गृह मंत्री शाह शुक्रवार को मध्यप्रदेश के प्रवास के दौरान दिग्विजय सिंह के गढ़ राजगढ़ के खिलचीपुर में भाजपा उम्मीदवार रोडमल नागर के समर्थन में सभा को संबोधित कर रहे थे। राजगढ़ सीट से दिग्विजय सिंह कांग्रेस उम्मीदवार हैं। उनका मुकाबला मौजूदा सांसद और भाजपा उम्मीदवार रोडमल नागर से है। यहां पर मंच से शाह ने दिग्विजय सिंह पर कई आरोप लगाए।
उन्होंने कहा कि दिग्गी राजा की सलाह से राहुल बाबा ने अपने घोषणा पत्र में शामिल किया है कि कांग्रेस सरकार आएगी तो मुस्लिम पर्सलन लॉ लाएगी। सरकार तो आनी नहीं है। फिर भी क्या ट्रिपल तलाक फिर से लाना चाहिए क्या? शरिया कानून से देश चलना चाहिए क्या? कांग्रेस मुस्लिम पर्सनल लॉ लाकर पिछले दरवाजे से शरिया कानून लाना चाहती है। ये दिग्गी राजा इनसे भी दो कदम आगे हैं..भगवा आतंकवाद। शर्म करो दिग्गी राजा।
शाह ने कहा कि आतंकवाद को देखने के आपके चश्मे अब बेकार हो गए हैं। ये पाकिस्तान के आतंकवादी हाफिज सईद को साहब कहते हैं। ये हाफिज आपका साहब होगा। ये तो आतंकवादी है, जिसने भारत का नुकसान किया। ये जाकिर नाईक को गले लगाते हैं। संसद पर हमला करने वाले अफजल गुरु की फांसी का विरोध करते हैं। सीएए के समर्थक पर लाठी चलाने का ये काम करते हैं। बंटाधार को बता देना कि हम मप्र को फिर से बंटाधार नहीं होने देंगे।
उन्होंने कहा कि दिग्गी राजा के समय में मध्य प्रदेश नक्सलवाद से पीड़ित राज्य माना जाता था। आज भाजपा ने यहां से नक्सलवाद समाप्त कर दिया। कांग्रेस सालों से गरीबी हटाने की बात करती थी। चार-चार पीढ़ियों तक इन्होंने यही बात कही मगर कुछ नहीं हुआ। 10 साल में प्रधानमंत्री मोदी ने 25 करोड़ लोगों को गरीबी रेखा से बाहर निकालने का काम किया है। नरेन्द्र मोदी ने 10 साल में पूरे देश से आतंकवाद और नक्सलवाद को समाप्त कर दिया।
उन्होंने कहा कि दिग्गी राजा कांग्रेस पार्टी के सलाहकार हैं। कांग्रेस 70 साल से अयोध्या के राम मंदिर के मुद्दे को अटका रही थी, लटका रही थी, भटका रही थी। आपने मोदी जी को दूसरी बार प्रधानमंत्री बनाया, उन्होंने पांच साल में केस जीता, भूमिपूजन किया। लोकार्पण भी किया और 22 जनवरी को प्राण प्रतिष्ठा कर जय श्रीराम कर दिया। मोदी ने ठीक ही कहा कि यह 1000 साल का एक पल रहा है। रामलला टेंट से निकलकर मंदिर में पधारे। कांग्रेस के शहजादे राहुल बाबा को निमंत्रण भेजा, वे नहीं गए। दिग्गी राजा भी नहीं गए। वे वोट बैंक से डरते हैं। निमंत्रण के बाद भी मंदिर नहीं गए, अयोध्या नहीं गए, इन्हें माफ नहीं किया जा सकता।