
सरायकेला, 22 अगस्त। सरायकेला जिले के चांडिल प्रखंड के पूड़ीसीली मौजा में सरकारी जमीन पर भूमाफियाओं का कब्जे अब स्थानीय ग्रामीणों के लिए मुसीबत का सबब बन गए है।
यह इलाका दलमा वाइल्डलाइफ सेंक्चुरी से सटा हुआ है, जहां हाथियों के झुंड भोजन और पानी की तलाश में अक्सर विचरते रहते हैं। लेकिन अवैध निर्माण और कब्ज़े के कारण हाथियों का प्राकृतिक मार्ग बाधित हो गया है और हाथियों के समूह गांवों की ओर आ रहे है।
स्थानीय लोगों का कहना है कि सरकारी जमीन पर कब्ज़ा केवल कानून का उल्लंघन नहीं है, बल्कि इससे वन्यजीवों के प्राकृतिक आवास नष्ट हो रहे हैं। पहले जहां हाथियों को जंगल और तराई क्षेत्र में पर्याप्त भोजन और पानी मिल जाता था, वहीं अब वहां टीन शेड लगाकर भूमि घेरने की कार्रवाई की जा रही है। इस अवैध कब्ज़े के कारण हाथियों को विवश होकर गांव की ओर जाना पड़ रहा है। इससे इंसानों और जानवरों के बीच संघर्ष की आशंका और बढ़ गई है।
हाथियों के गांव में पहुंचने से ग्रामीण भयभीत हैं। वेअपनी सुरक्षा को लेकर चिंतित हैं और उनका कहना है कि अवैध कब्जों के कारण हाथियों के प्राकृतिक मार्ग बंद हो जाने से इंसानों और हाथियों के बीच संघर्ष की घटनाएं और बढ़ सकती हैं।
ग्रामीणों का कहना है कि सरकारी बोर्ड पर साफ लिखा है कि यह भूमि राज्य सरकार की है और इस पर क्रय-विक्रय या कब्ज़ा दंडनीय अपराध है। इसके बावजूद भूमाफिया खुलेआम टीन शेड लगाकर जमीन घेर रहे हैं। ग्रामीणों ने प्रशासन पर निष्क्रियता और मिलीभगत का आरोप लगाया है।