बीरभूम, 3 अगस्त। बुधवार से दक्षिण बंगाल में हो रही भारी बरसात का असर बीरभूम जिले में भी देखने को मिला है। जिले के तारापीठ माहाश्मशान सहित कई इलाके जलमग्न हो गए हैं।

स्थानीय सूत्रों के मुताबिक लगातार बारिश के कारण द्वारका नदी का जलस्तर बढ़ गया है और पानी श्मशान घाट में घुस गया। श्मशान घाट के विभिन्न इलाकों में करीब कमर तक पानी भर गया। इस कारण शनिवार को यहां दाह संस्कार रोक दिया गया।  श्मशान घाट के अधिकारियों ने बताया है कि सेवाएं जल्द बहाल करने की कोशिशें जारी हैं।

उल्लेखनीय है कि पिछले कुछ दिनों से राज्य में भारी बारिश हो रही है। जिससे हर इलाके में नदियों का जलस्तर बढ़ता जा रहा है। गुरुवार दोपहर से बीरभूम के रामपुरहाट में बारिश की मात्रा बढ़ गयी।

स्थानीय सूत्रों के मुताबिक, शुक्रवार दोपहर द्वारका नदी का जलस्तर खतरे के निशान तक पहुंच गया। इसके बाद से नदी का पानी मंदिर से सटे श्मशान घाट में घुसने लगा। शनिवार की सुबह तक यह लगभग कमर तक पहुंच गया था। श्मशान घाट का विशाल क्षेत्र डूबा हुआ है। हालाँकि, बताया गया है कि दोपहर के बाद से बारिश नहीं होने के कारण पानी कम होना शुरू हो गया है।

उल्लेखनीय है कि भारी बारिश के कारण पिछले चार दिनों से रामपुरहाट मेडिकल कॉलेज की सेवाएं बाधित है. सीटी स्कैन, एक्स-रे सेवाएं भी बंद हैं। इससे मरीजों व उनके परिजनों को इलाज के लिए परेशानी हो रही है।

जिले में नदियों का जलस्तर बढ़ने से कई स्थानों पर संपर्क टूट गया है। इनमें बीरभूम के जॉयदेव के पास अजय नदी पर बना नौका और झाड़ग्राम के गोपीवल्लभपुर में बना फेयर वेदर ब्रिज बह गया है। पश्चिम मेदिनीपुर के घाटल महकमे में भी बाढ़ की स्थिति बन गई है।