कोलकाता, 29 जनवरी। पश्चिम बंगाल में सरकारी स्कूलों के विद्यार्थियों के लिए चलाई जा रही ‘तरुणेर स्वप्न’ योजना में हुए टैब घोटाले में बड़ा खुलासा हुआ है। इस घोटाले के मुख्य आरोपितों में से एक उत्तर दिनाजपुर जिले के एक स्कूल के प्रिंसिपल मोहम्मद मोफताजुल इस्लाम को इस्लामपुर से गिरफ्तार कर लिया गया है। बताया जा रहा है कि वे पिछले काफी समय से फरार थे और नेपाल सीमा पर छिपे हुए थे।
सरकारी योजना के तहत राज्य सरकार ने 11वीं और 12वीं कक्षा के विद्यार्थियों को पढ़ाई में सहायता के लिए 10 हजार रुपये की राशि देने का प्रावधान किया था, जिससे वे टैबलेट खरीद सकें। लेकिन इस योजना में बड़े पैमाने पर भ्रष्टाचार की शिकायतें सामने आईं, जहां कई छात्रों को यह पैसा नहीं मिला और उनके नाम पर जारी की गई राशि अन्य खातों में भेज दी गई।
जांच एजेंसियों की गहन पड़ताल में पता चला कि इस घोटाले की जड़ें उत्तर दिनाजपुर से जुड़ी हुई हैं और इसमें शिक्षकों की भी संलिप्तता रही है। कई गिरफ्तारियों के बाद अब जांच अधिकारियों ने घोटाले के मास्टरमाइंड कहे जा रहे मोहम्मद मोफताजुल इस्लाम को पकड़ लिया है।
सूत्रों के अनुसार, जब टैब घोटाले की चर्चा तेज हुई, तो मोफताजुल नेपाल सीमा पर जाकर छिप गए थे। लेकिन कुछ समय बाद वे इस्लामपुर लौट आए। गुप्त सूचना के आधार पर पुलिस ने वहां छापा मारकर उन्हें गिरफ्तार कर लिया।
मोफताजुल इस्लाम पिछले करीब 10 वर्षों से उत्तर दिनाजपुर के माजियाली हाई स्कूल में कार्यरत थे। 2022 में जब स्कूल के नियमित प्रिंसिपल सेवानिवृत्त हुए, तो उन्हें अंतरिम प्रिंसिपल की जिम्मेदारी दी गई। इस दौरान वे स्कूल पोर्टल के संचालन के भी प्रभारी थे।
पुलिस जांच में खुलासा हुआ है कि मोफताजुल केवल अपने स्कूल तक सीमित नहीं थे, बल्कि उन्होंने विभिन्न राज्यों में भी अपनी गतिविधियां फैला रखी थीं। उन्होंने छोटे-छोटे गिरोह बनाए और प्रशासन की नजरों से बचकर सरकारी योजना की राशि को हेरफेर करने की साजिशें रचीं।
कोलकाता समेत राज्य के विभिन्न जिलों में जहां-जहां टैब घोटाले की शिकायतें दर्ज हुई थीं, वहां के सभी मामलों में मोफताजुल का नाम प्रमुख आरोपियों में था। पुलिस अब इस घोटाले से जुड़े अन्य लोगों की भी तलाश कर रही है।