कोलकाता, 25 मार्च । भाजपा नेता अमित मालवीय ने आरोप लगाया है कि पश्चिम बंगाल में तृणमूल कांग्रेस सरकार हिन्दुओं को मतदाता सूची से हटाकर बांग्लादेशी और रोहिंग्या घुसपैठियों को वोटर बना रही है, खासकर सीमावर्ती इलाकों में। उन्होंने दावा किया कि नदिया जिले में एक मुस्लिम व्यक्ति के अनुरोध पर ब्लॉक विकास अधिकारी (बीडीओ) ने तत्काल कार्रवाई करते हुए 98 हिन्दुओं के नाम मतदाता सूची से हटाने की प्रक्रिया शुरू कर दी।

मालवीय ने मंगलवार को अपने एक ट्वीट के जरिए आरोप लगाया कि मुख्यमंत्री ममता बनर्जी के निर्देश पर यह काम किया जा रहा है, क्योंकि उन्हें मुस्लिम मतदाताओं का समर्थन हासिल है और वह हिन्दू वोटरों को कमजोर करने की साजिश कर रही हैं। उन्होंने कहा कि तृणमूल सरकार उन हिन्दू शरणार्थियों को डराने में लगी है, जिन्होंने पाकिस्तान और बांग्लादेश में धार्मिक उत्पीड़न से बचने के लिए भारत में शरण ली थी।

अमित मालवीय ने कहा कि ममता बनर्जी ने नागरिकता संशोधन कानून (सीएए) का विरोध किया और इसके खिलाफ हिंसक प्रदर्शन करवाए, लेकिन वह इसे लागू होने से रोक नहीं पाईं। उन्होंने आरोप लगाया कि अब उनकी सरकार सीएए के तहत नागरिकता लेने के इच्छुक हिन्दू शरणार्थियों को डराकर मतदाता सूची से उनका नाम हटवा रही है।

उन्होंने बागदा (अनुसूचित जाति) विधानसभा क्षेत्र, बनगांव जिले के कुछ हिन्दू शरणार्थियों को भेजे गए नोटिसों का हवाला देते हुए कहा कि दशकों से बंगाल में रह रहे मतुआ समुदाय के लोगों को वोटर लिस्ट से हटाया जा रहा है।

भाजपा नेता ने कहा कि इस पूरे घटनाक्रम से तीन बातें साफ हो जाती हैं:

1. ममता बनर्जी पूरी तरह से मुस्लिम वोटों पर निर्भर हैं।

2. 2026 के विधानसभा चुनावों से पहले वह ज्यादा से ज्यादा हिन्दुओं को मतदाता सूची से बाहर करना चाहती हैं।

3. वह मतुआ समुदाय से नफरत करती हैं, क्योंकि इस समुदाय ने हमेशा उनके खिलाफ मतदान किया है।

मालवीय ने कहा कि संदेशखाली की महिलाओं को शोषण का शिकार इसलिए बनाया गया, क्योंकि वे अनुसूचित जाति व जनजाति समुदाय से थीं और बांग्लादेश से धार्मिक उत्पीड़न झेलकर आई थीं। अब यही साजिश भाजपा के प्रभाव वाले इलाकों में भी चल रही है।

उन्होंने कहा कि अगर बंगाल को बांग्लादेश बनने से बचाना है, तो 2026 में ममता बनर्जी को सत्ता से हटाना जरूरी है। उन्होंने भाजपा कार्यकर्ताओं और हिन्दू मतदाताओं से इस चुनाव को बंगाल बचाने की लड़ाई के रूप में देखने की अपील की।