
आसनसोल, 25 दिसंबर ।
क्रिसमस के मौके पर आसनसोल में एक अनोखा दृश्य देखने को मिला, जब राज्य के पंचायत एवं ग्रामीण विकास मंत्री प्रदीप मजूमदार ने नई मिसाल पेश की। आम दिनों में फाइलों, बैठकों और राजनीतिक जिम्मेदारियों में व्यस्त रहने वाले मंत्री इस दिन सांताक्लॉज़ के रूप में नजर आये। लाल पोशाक, सिर पर टोपी और चेहरे पर सफेद दाढ़ी, मंत्री का यह रूप लोगों के लिए चौंकाने वाला तो था ही, साथ ही साथ बच्चों के लिए बेहद खुशियों से भरा रहा।
गुरुवार सुबह स्टील टाउनशिप दुर्गापुर स्थित अपने आवास से सांताक्लॉज़ के वेश में निकलकर मंत्री सबसे पहले पास की तालतला बस्ती पहुंचे। वहां उन्होंने बच्चों के साथ समय बिताया और खुद ‘सांता’ बनकर नन्हे-मुन्नों को केक, चॉकलेट और खिलौने भेंट किए। मंत्री को इस अंदाज में देखकर बच्चों की आंखों में खुशी और उत्साह साफ झलक रहा था। किसी ने हंसते हुए गले लगाया तो किसी ने मासूमियत से उपहार थामे धन्यवाद कहा।
तालतला बस्ती के सामने से जब मंत्री की गाड़ी हूटर बजाती हुई गुजरी, तो आसपास के लोग उत्सुकता में बाहर निकल आए। गाड़ी के भीतर बैठे सांताक्लॉज़ को देखकर कई लोग पलभर के लिए हैरान रह गए। स्थानीय निवासी शेख निज़ामुद्दीन ने बताया कि पहले तो उन्हें विश्वास ही नहीं हुआ कि यह कोई मंत्री हैं। उन्होंने कहा कि बच्चों को उपहार देते और उनके साथ घुलते-मिलते देखकर मन खुश हो गया।
इसके बाद मंत्री स्टील टाउनशिप के कणिष्क रोड पहुंचे, जहां एक सामाजिक संस्था द्वारा आयोजित क्रिसमस कार्यक्रम में उन्होंने हिस्सा लिया। वहां पूरे दिन सांस्कृतिक और सामाजिक गतिविधियों का आयोजन किया गया था। मंत्री ने कार्यक्रम में मौजूद बच्चों और अभिभावकों से बातचीत की और सभी को क्रिसमस की शुभकामनाएं दीं।
इस अवसर पर प्रदीप मजूमदार ने कहा कि बच्चों के साथ समय बिताना उनके लिए बेहद सुखद अनुभव रहा। उन्होंने कहा कि बच्चे समाज का भविष्य हैं और उनकी खुशियों में ही असली आनंद छिपा है। मंत्री ने यह भी कहा कि धर्म व्यक्ति का निजी विषय हो सकता है, लेकिन त्योहार सबको जोड़ने का काम करते हैं। ऐसे अवसरों पर आपसी सौहार्द और भाईचारे को मजबूत करना सबसे बड़ी जरूरत है।
मंत्री की इस पहल को सकारात्मक संदेश के रूप में देखा गया, जिसमें सत्ता और आमजन के बीच की दूरी को पाटने की कोशिश नजर आई। खासकर झुग्गी-बस्ती के बच्चों के लिए यह दिन यादगार बन गया।
क्रिसमस के मौके पर सांताक्लॉज़ बने मंत्री प्रदीप मजूमदार का यह मानवीय रूप गुरुवार को आसनसोल में चर्चा का विषय बना रहा। यह पहल न केवल गरीब बच्चों के चेहरों पर मुस्कान लेकर आई, बल्कि समाज में आपसी प्रेम, सद्भाव और साझा खुशियों का संदेश भी देकर गई।






