
जगदलपुर, 01 जून । पूर्व केन्द्रीय मंत्री रहे आदिवासी नेता अरविंद नेता ने कहा कि राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (रा.स्व.संघ) के कार्यक्रम में मुख्य अतिथि के रूप में शामिल होना उनके लिए सौभाग्य की बात है। उन्हें संघ ने कार्यक्रम में आमंत्रित किया है, यह संघ का बड़प्पन है। उन्होंने कहा कि वे कार्यक्रम में जल, जंगल, जमीन धर्मांतरण व औद्योगिकरण नीति को लेकर अपनी बात रखेंगे।
बस्तर संभाग के कांकेर से पांच बार के सांसद और इंदिरा गांधी, पीवी नरसिम्हा राव की सरकार में बस्तर से पहले मंत्री रह चुके 82 वर्षीय पूर्व केंद्रीय मंत्री अरविंद नेताम ने रविवार काे बताया कि राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के द्वारा 5 जून को नागपुर में अपने कार्यक्रम में मुख्य अतिथि बनाया गया है, जो संघ का बड़प्पन है और मेरा सौभाग्य है। रा.स्व.संघ के विचार अच्छे हैं, मगर मैं उम्र के इस पड़ाव में संघ में शामिल होने नहीं बल्कि मैं देश के आदिवासी राज्यों की बात रखने जा रहा हूं। इस कार्यक्रम को संघ प्रमुख डॉ. मोहन भागवत सम्बोधित करेंगे।
उन्होंने बताया कि राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के कार्यकर्ता विकास वर्ग द्वितीय के समापन समारोह के मुख्य अतिथि के रूप में 5 जून को नागपुर में होने वाले कार्यक्रम में मुख्य अतिथि के रूप शामिल होंगे। उन्होंने बताया कि इस कार्यक्रम में जल-जंगल-जमीन, धर्मांतरण, औद्योगिक नीति को लेकर अपनी बात रखेंगे। उन्होंने कहा कि हमारी पुरानी मांग आदिवासी समुदाय के धर्मकोड की मांग को भी रखेंगे, क्योंकि जनगणना में हिंदू लिखाया जाता है। उन्हाेंने कहा कि आदिवासी इलाकों में बड़े पैमाने पर औद्याेगिकरण किया जा रहा है, जिससे बदलाव तो आयेगा, लेकिन बस्तर के आदिवासी इलाके के लोग कहां जायेंगे, पता नहीं चलेगा? क्योंकि औद्योगिकरण से बाहरी लोगों का प्रवेश अधिक होगा।
नेताम ने कहा कि संघ राष्ट्रहित और आदिवासी हित में काम करने वाला एकमात्र संगठन है। मगर भारतीय जनता पार्टी के विचारधारा के कारण आदिवासियों के बीच में खाई बड़ी है, जिसे पाटने की जरूरत है। उन्होंने संघ का आभार व्यक्त करते हुए कहा कि इस कार्यक्रम में उन्हें बुलाया जाना मेरा सौभाग्य है और इसके लिए मैं आभारी हूं, परंतु इस उम्र के इस पड़ाव में संघ में शामिल होना नामुमकिन है।
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