रांची, 30 जुलाई । राजधानी के व्यस्तम इलाका सिरमटोली चौक से बुधवार की सुबह एक स्कूली छात्रा को अगवा करने के करने के मामले में पुलिस ने  इस वारदात में शामिल चार अपराधियों को घटना के छह घंटे के अंदर ही गिरफ्तार कर लिया।अगवा स्कूली छात्रा को  अपहरण के दो घंटे के अंदर ही रामगढ़ के कुज्जू से सकुशल बरामद कर लिया गया था।एक नंबर प्लेट बदलने वाले को भी गिरफ्तार किया गया है।

डीआईजी सह एसएसपी चंदन कुमार सिन्हा ने  प्रेस वार्ता में बताया कि घटना में शामिल अपराधियों ने वारदात के वक्‍त अपना छदम नाम हसबुल्ला, सुनील, बिट्टू और प्रीतम रखा था। जबकि इनके असली नाम  रुद्रांशु विश्वकर्मा, ऋषभ वर्मन, विकास कुमार है। इनके साथ ही एक नाबालिग को भी  निरुद्ध किया गया है। इन अपराधियों को गोला के करीब से पकड़ा गया है। पुलिस ने वारदात में इस्तेमाल हुंडई कार और हथियार भी बरामद कर लिया है।

बरामद हथियारों में एक देशी पिस्टल, एक देशी कट्टा, दो जिंदा गोली, एक खोखा के अलावा, दो स्मार्टफोन, नकद बावन सौ रुपये शामिल है। चारों आरोपितों से पुलिस ने पूछताछ शुरू कर दी है। बताया जा रहा है कि पकड़े गये सभी अपराधी रांची के ही रहने वाले हैं।

एसएसपी ने बताया कि जिस कार का इस्तेमाल छात्रा को अगवा करने में किया गया था, उसका रजिस्ट्रेशन नंबर फर्जी था। इस कार का रजिस्ट्रेशन किसी दूसरे के नाम पर है। इससे यह स्पष्ट है कि अपराधियों ने पूरी साजिश रचकर इस घटना को अंजाम दिया था। छात्रा की बरामदगी में मांडू थाना प्रभारी सदानंद की बहादुरी सामने आयी। रांची पुलिस से लड़की के अपहरण की सूचना मिलने के बाद पूरी रामगढ़ पुलिस सड़क पर निगरानी कर रही थी। इसी बीच मांडू और कुजू के बीच एक कार काफी रफ्तार से भागती हुई दिखाई दी। मांडू थाना प्रभारी ने उस कार का पीछा किया। पुलिस को पीछा करते देख अपराधी कार को और भी तेज भगाने लगे थे। हालांकि पकड़े जाने के डर से अपराधियों ने छात्रा  को चलती कार से कुजू में बैंक के पास सड़क पर फेंक दिया और फरार हो गये थे। एसएसपी ने कहा कि रांची पुलिस उस व्यक्ति को गोपनीय रूप से सम्मानित करेगी जिसने घटना के वक्त अपराधियों के द्वारा उपयोग की गई गाड़ी का नंबर नोट कर पुलिस को बताया था।

उल्लेखनीय है कि छात्रा हर दिन की तरह ई-रिक्शा से स्कूल जा रही थी। सिरमटोली के पास हुंडई कार से अपराधी पहुंचे और ई-रिक्शा को पीछे से धक्का मार दिए। इसके बाद दो बदमाश नीचे उतरे जो चेहरे पर मास्क लगये हुए थे। अपराधियों ने दहशत फैलाने के उद्देश्य से फायरिंग की और छात्रा को ई रिक्शा से जबरन खींच कर कार में बैठा लिया और सुजाता चौक होते हुए मेकॉन की ओर फरार हो गये थे।

फिरौती के लिए छात्रा को किया गया था अगवा : पुलिस

डीआईडी सह एसएसपी चंदन कुमार सिन्हा ने बताया कि गिरफ्तार अपराधियों से प्रारंभिक पूछताछ में यह ज्ञात हुआ है कि उन लोगों ने छात्रा को फिरौती की राशि वसूलने के लिए अगवा किया था। अगवा लड़की को लेकर वे सभी बिहार ले जाने के लिए निकले थे, लेकिन पकड़े गये। मुख्य साजिशकरता रुद्रांशु विश्वकर्मा बताया जा रहा है। वह एक जिम ट्रेनर है और उसने कर्ज उतारने के लिए फिरौती के लिए अपहरण की योजना बनाया था। पूछताछ में सामने आया है कि अपहरण के दौरान गोली चलाने वाला अपराधी ऋषभ बर्मन था।