
नई दिल्ली, 19 अगस्त। ब्लूस्टोन ब्रांड के तहत गोल्ड, डायमंड, प्लेटिनम और जड़ाऊ ज्वैलरी बनाने वाली कंपनी ब्लूस्टोन ज्वेलरी के शेयरों ने आज स्टॉक मार्केट में कमजोर एंट्री करके अपने आईपीओ निवेशकों को निराश कर दिया। हालांकि लिस्टिंग के बाद हुई लिवाली की वजह से आईपीओ निवेशक फिलहाल फायदे में पहुंच गए हैं।
आईपीओ के तहत कंपनी के शेयर 517 रुपये के भाव पर जारी किए गए थे। आज बीएसई पर इसकी लिस्टिंग 508.80 रुपये के स्तर पर और एनएसई पर 510 रुपये के स्तर पर हुई। इस तरह स्टॉक मार्केट में एंट्री करने के साथ ही कंपनी के आईपीओ निवेशकों को करीब एक प्रतिशत के नुकसान का सामना करना पड़ा। कमजोर लिस्टिंग के बाद लिवाली शुरू हो जाने के कारण कुछ ही देर में कंपनी के शेयर घाटे से उबर कर फायदे में पहुंच गए। सुबर 11 बजे तक कारोबार होने के बाद ब्लूस्टोन ज्वेलरी के शेयर 528.40 रुपये के स्तर पर कारोबार कर रहे थे। इस तरह अभी तक कारोबार में कंपनी के आईपीओ निवेशकों को 11.65 रुपये यानी 2.25 प्रतिशत का मुनाफ हो चुका है।
ब्लूस्टोन ज्वेलरी का 1,540.65 करोड़ रुपये का आईपीओ 11 से 13 अगस्त के बीच सब्सक्रिप्शन के लिए खुला था। इस आईपीओ को निवेशकों की ओर से एवरेज रिस्पॉन्स मिला था, जिसके कारण ये ओवरऑल 2.72 गुना सब्सक्राइब हो सका था। इनमें क्वालिफाइड इंस्टीट्यूशनल बायर्स (क्यूआईबी) के लिए रिजर्व पोर्शन 4.25 गुना सब्सक्राइब हुआ था। इसी तरह नॉन इंस्टीट्यूशनल इन्वेस्टर्स (एनआईआई) के लिए रिजर्व पोर्शन में 0.57 गुना सब्सक्रिप्शन आया था। इसके अलावा रिटेल इन्वेस्टर्स के लिए रिजर्व पोर्शन 1.38 गुना सब्सक्राइब हुआ था। इस आईपीओ के तहत 820 करोड़ रुपये के नए शेयर जारी किए गए हैं। इसके अलावा 1 रुपये फेस वैल्यू वाले 1,39,39,063 शेयर ऑफर फॉर सेल विंडो के जरिये बेचे गए हैं। आईपीओ के जरिये जुटाए गए पैसे का इस्तेमाल कंपनी अपनी वर्किंग कैपिटल की जरूरतों को पूरा करने और आम कॉरपोरेट उद्देश्यों में करेगी।
कंपनी की वित्तीय स्थिति की बात करें तो प्रॉस्पेक्टस में किए गए दावे के मुताबिक इसकी वित्तीय सेहत लगातार कमजोर बनी हुई है। वित्त वर्ष 2022-23 में कंपनी को 167.24 करोड़ रुपये का शुद्ध नुकसान हुआ था, जो अगले वित्त वर्ष 2023-24 में घट कर 142.24 करोड़ रुपये के स्तर पर आ गया। हालांकि 2024-25 में कंपनी का नुकसान बढ़ कर 221.84 करोड़ रुपये के स्तर पर पहुंच गया। इस दौरान कंपनी का राजस्व 52 प्रतिशत वार्षिक से अधिक की चक्रवृद्धि दर (कंपाउंड एनुअल ग्रोथ रेट) से बढ़ कर 1,830.04 करोड़ रुपये के स्तर पर पहुंच गया। इस दौरान कंपनी पर कर्ज भी लगातार बढ़ा। वित्त वर्ष 2022-23 के आखिरी में कंपनी का कर्ज 228.42 करोड़ रुपये, वित्त वर्ष 2023-24 के आखिरी में 430.43 करोड़ रुपये और वित्त वर्ष 2024-25 के आखिरी में कंपनी का कर्ज 728.62 करोड़ रुपये के स्तर पर पहुंच गया।