
ढाका, 14 मई । अंतरराष्ट्रीय मुद्रा कोष (आईएमएफ) ने बांग्लादेश को 1.3 अरब डॉलर की नई वित्तीय सहायता देने की घोषणा की है। यह सहायता राशि आईएमएफ के 4.7 अरब डॉलर के ऋण पैकेज के तहत दी जा रही है, जिसमें अब चौथे और पांचवें चरण की किस्तें शामिल हैं। यह निर्णय मुद्रा विनिमय दर में सुधार पर बनी सहमति के बाद लिया गया है।
आईएमएफ और बांग्लादेश सरकार के बीच क्रॉलिंग पेग व्यवस्था को अपनाने पर सहमति बनी है। इस प्रणाली के तहत बांग्लादेश की मुद्रा ‘टका’ का मूल्य धीरे-धीरे वैश्विक विनिमय दरों के अनुसार बदलेगा, जिससे विदेशी मुद्रा बाज़ार में लचीलापन और पारदर्शिता आएगी।
वॉशिंगटन में अप्रैल में हुई आईएमएफ और वर्ल्ड बैंक की स्प्रिंग मीटिंग में राजस्व प्रबंधन, मौद्रिक नीति, और विदेशी मुद्रा नीति पर गंभीर चर्चा हुई थी। बांग्लादेश के वित्त मंत्रालय ने बुधवार को बयान जारी कर बताया कि “सभी प्रमुख मुद्दों पर समीक्षा के बाद, दोनों पक्ष राजस्व नीति, मुद्रा विनिमय व्यवस्था और अन्य सुधार ढांचे पर सहमत हो गए हैं।”
आईएमएफ के अनुसार, यदि कार्यकारी बोर्ड इस स्टाफ-लेवल डील को मंजूरी देता है, तो बांग्लादेश को एसडीआर 983.8 मिलियन (लगभग 1.3 अरब डॉलर) की राशि प्राप्त होगी। आईएमएफ ने बताया कि बांग्लादेश ने बढ़ती बाहरी वित्तपोषण आवश्यकताओं को पूरा करने और व्यापक आर्थिक स्थिरता का समर्थन करने के लिए ईसीएफ और ईएफएफ के तहत 567.2 मिलियन एसडीआर (लगभग 762 मिलियन डॉलर) की वृद्धि का भी अनुरोध किया था।
वहीं, बांग्लादेश सरकार ने आईएमएफ की एक प्रमुख शर्त को मानते हुए राष्ट्रीय राजस्व बोर्ड (एनबीआर) को भंग कर दिया है। अब वित्त मंत्रालय के तहत दो स्वतंत्र इकाइयां बनाई गई हैं- एक कर नीति देखेगी और दूसरी कर संग्रह और प्रशासन का काम संभालेगी। सरकार को इसके अलावा 2 अरब डॉलर का बजट समर्थन भी अन्य विकास भागीदारों से मिलने की उम्मीद है।
बांग्लादेश को यह राहत ऐसे समय मिली है जब देश को मुद्रास्फीति, धीमी विकास दर और विदेशी भुगतान संतुलन की गंभीर चुनौतियों का सामना करना पड़ रहा है। सरकार ने वित्तीय अनुशासन कड़ा करने, बैंकिंग सुधार लागू करने और जलवायु निवेश बढ़ाने का संकल्प जताया है।