
कोलकाता, 20 जून ।
पश्चिम बंगाल सरकार द्वारा स्कूलों के बर्खास्त ग्रुप सी और ग्रुप डी कर्मचारियों को मासिक भत्ता देने के फैसले पर कलकत्ता हाईकोर्ट ने अंतरिम रोक लगा दी है। यह आदेश न्यायमूर्ति अमृता सिन्हा ने शुक्रवार को दिया है।
हाईकोर्ट ने स्पष्ट किया कि राज्य सरकार की ओर से जारी भत्ता देने की अधिसूचना अभी लागू नहीं होगी। अदालत ने इस मामले से जुड़े सभी पक्षों को हलफनामा दाखिल करने का निर्देश दिया है। यह स्थगन आदेश 26 सितंबर तक प्रभावी रहेगा।
राज्य सरकार ने तय किया था मासिक भत्ता
राज्य सरकार ने निर्णय लिया था कि बर्खास्त ग्रुप सी कर्मचारियों को प्रति माह 25 हजार और ग्रुप डी कर्मचारियों को 20 हजार की दर से भत्ता दिया जाएगा। यह फैसला उन कर्मियों के लिए लिया गया था जो 2016 की स्कूल सेवा आयोग (एसएससी) भर्ती प्रक्रिया में शामिल थे और बाद में नौकरी से हटा दिए गए थे।
सुप्रीम कोर्ट ने 2016 की एसएससी परीक्षा की पूरी चयन सूची को रद्द कर दिया था, जिसके बाद न केवल शिक्षक बल्कि ग्रुप सी और ग्रुप डी कर्मचारी भी बर्खास्त हो गए थे। जहां सुप्रीम कोर्ट ने शिक्षकों को 31 दिसंबर 2025 तक स्कूलों में लौटने की अनुमति दी है, वहीं ग्रुप सी और ग्रुप डी कर्मचारियों के लिए ऐसा कोई आदेश नहीं दिया गया था।
राज्य सरकार के भत्ता देने के फैसले को चुनौती देते हुए हाईकोर्ट में याचिका दायर की गई थी। याचिकाकर्ताओं के वकील ने अदालत में दलील दी कि यह निर्णय सुप्रीम कोर्ट के आदेश के खिलाफ है। इसी याचिका पर सुनवाई करते हुए हाईकोर्ट ने राज्य सरकार के फैसले पर फिलहाल रोक लगा दी।
यह मामला अब आगामी 26 सितंबर को फिर से अदालत में सुनवाई के लिए पेश होगा।