काठमांडू, 10 अगस्त। भारत के आर्थिक अनुदान से नेपाल में तीन प्रमुख पेट्रोलियम परियोजनाओं का निर्माण किया जाएगा। नेपाल के उद्योग, वाणिज्य एवं आपूर्ति मंत्री दामोदर भंडारी ने पिछले दिनों नई दिल्ली में पेट्रोलियम एवं प्राकृतिक गैस मंत्री हरदीप सिंह पुरी के साथ बैठक कर इन परियोजनाओं पर विस्तृत चर्चा की। इस बैठक में भारतीय सहयोग से अमलेखगंज-चितवन, सिलीगुड़ी-झापा पाइपलाइन और झापा में भंडारण टैंक बनाने का फैसला किया गया।
नई दिल्ली में 6-8 अगस्त तक आयोजित बिम्सटेक व्यापार शिखर सम्मेलन के बाद काठमांडू लौटे मंत्री भंडारी के नेतृत्व वाले प्रतिनिधिमंडल में शामिल वाणिज्य मंत्रालय के संयुक्त सचिव बाबूराम अधिकारी ने शनिवार को पत्रकारों को यह जानकारी दी। बाबूराम ने बताया कि भारतीय अनुदान से पेट्रोलियम परियोजना के निर्माण को अंतिम रूप दे दिया गया है। दोनों देशों के मंत्री स्तरीय बैठक में यह निर्णय लिया गया है कि भारत सब्सिडी के साथ परियोजना का निर्माण करने पर सहमत हो गया है। उन्होंने बताया कि दोनों देशों की संयुक्त सचिव स्तर की बैठक में भारतीय सब्सिडी से परियोजना को लेकर औपचारिक सिफारिश की जाएगी और सरकार की मंजूरी के बाद निर्माण शुरू हो जाएगा। जल्द ही दोनों देशों के संयुक्त सचिवों की अगुवाई में बैठक होगी।
तत्कालीन प्रधानमंत्री पुष्पकमल दाहाल ‘प्रचंड’ के पिछले साल प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के साथ नई दिल्ली में हुई बैठक में इसको लेकर समझौता हुआ था। समझौते में यह शर्त थी कि दोनों देशों की तेल कंपनियां 6 महीने के भीतर निर्माण पूरा करेंगी लेकिन इस मुद्दे पर भ्रम था कि भारत ‘ऋण या अनुदान’ कैसे निवेश करेगा। मंत्री भंडारी ने अपने हालिया भारत दौरे में इस बात को लेकर विस्तृत बातचीत कर समझौते को अंतिम रूप दिया। इस बैठक में यह तय किया गया कि भारत सब्सिडी के साथ परियोजना का निर्माण करेगा।