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नई दिल्ली, 19 फ़रवरी । केंद्र सरकार ने बिहार, हरियाणा और सिक्किम के ग्रामीण स्थानीय निकायों के लिए वित्तीय वर्ष 2024-25 के दौरान पंद्रहवें वित्त आयोग का अनुदान जारी किया है।
पंचायती राज मंत्रालय के अनुसार बिहार को 821.8021 करोड़ रुपये की अनटाइड ग्रांट की दूसरी किस्त मिली है और अनटाइड ग्रांट की पहली किस्त का 47.9339 करोड़ रुपये का हिस्सा रोक लिया गया है। ये फंड सभी 38 जिला पंचायतों, 530 पात्र ब्लॉक पंचायतों और 8052 पात्र ग्राम पंचायतों के लिए हैं, जिन्होंने रिलीज के लिए अनिवार्य शर्तें पूरी की हैं।
हरियाणा में ग्रामीण स्थानीय निकायों को 202.4663 करोड़ रुपये की अनटाइड ग्रांट की दूसरी किस्त मिलेगी और अनटाइड ग्रांट की पहली किस्त का रोका हुआ हिस्सा 7.5993 करोड़ रुपये होगा। ये फंड 18 पात्र जिला पंचायतों, 142 पात्र ब्लॉक पंचायतों और 6195 पात्र ग्राम पंचायतों के लिए हैं।
सिक्किम को वित्तीय वर्ष 2024-25 के दौरान 6.2613 करोड़ रुपये की अनटाइड ग्रांट की दूसरी किस्त मिलेगी। ये फंड 4 पात्र जिला पंचायतों और 186 पात्र ग्राम पंचायतों के लिए हैं, जिन्होंने रिलीज के लिए अनिवार्य शर्तों को पूरा किया है।
अनटाइड ग्रांट का उपयोग पंचायती राज संस्थाओं (पीआरआई) और ग्रामीण स्थानीय निकायों (आरएलबी) द्वारा वेतन और अन्य स्थापना लागतों को छोड़कर संविधान की ग्यारहवीं अनुसूची में निहित 29 विषयों के तहत स्थान-विशिष्ट जरूरतों के लिए किया जाएगा। बंधे हुए अनुदान का उपयोग बुनियादी सेवाओं के लिए किया जा सकता है। इनमें स्वच्छता और खुले में शौच से मुक्ति की स्थिति को बनाए रखना और घरेलू कचरे का प्रबंधन और उपचार, विशेष रूप से मानव मल और मल कीचड़ का प्रबंधन और पेयजल की आपूर्ति, वर्षा जल संचयन और जल पुनर्चक्रण शामिल होना चाहिए।
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