
सभी हथियार स्वदेशी रूप से डिजाइन, विकसित और निर्मित होंगे
नई दिल्ली, 03 जुलाई । केंद्र सरकार ने गुरुवार को तीनों सेनाओं के लिए लगभग 1.05 लाख करोड़ रुपये के 10 हथियार खरीदने के प्रस्तावों को मंजूरी दे दी है। इनमें बख्तरबंद रिकवरी वाहन, इलेक्ट्रॉनिक युद्ध प्रणाली, तीनों सेनाओं के लिए एकीकृत कॉमन इन्वेंटरी मैनेजमेंट सिस्टम और सतह से हवा में मार करने वाली मिसाइलें होंगी। सभी हथियार स्वदेशी रूप से डिजाइन, विकसित और निर्मित होंगे।
रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह की अध्यक्षता में गुरुवार को रक्षा अधिग्रहण परिषद (डीएसी) की हुई बैठक में बख्तरबंद रिकवरी वाहनों, ईडब्ल्यू सिस्टम, एकीकृत कॉमन इन्वेंट्री मैनेजमेंट सिस्टम, सतह से हवा में मार करने वाली मिसाइलें, सुपर रैपिड गन माउंट और सबमर्सिबल ऑटोनॉमस वेसल्स की खरीद के लिए लगभग 1.05 लाख करोड़ रुपये के 10 पूंजी अधिग्रहण प्रस्तावों को मंजूरी दी गई। इसी तरह मूर्ड माइन और माइन काउंटर मेजर वेसल्स की खरीद के लिए भी एओएन दिए गए।
मूर्ड माइन एक प्रकार की नौसैनिक माइन होती है, जो पानी के नीचे एक निश्चित गहराई पर बनी रहती है, जिसे एक केबल के जरिये समुद्र तल पर लंगर डाला जाता है। इन माइन को जहाजों और पनडुब्बियों को निशाना बनाने के लिए डिज़ाइन किया गया है, जो किसी जहाज के संपर्क या निकटता पर विस्फोट करती हैं। मूर्ड माइन जल मार्गों की रक्षा और नेविगेशन को नियंत्रित करने के लिए एक प्रचलित और लागत प्रभावी तरीका है।
रक्षा अधिग्रहण परिषद से मंजूरी मिलने के बाद तीनों सेनाओं के लिए ये खरीद उच्च गतिशीलता, प्रभावी वायु रक्षा, बेहतर आपूर्ति शृंखला प्रबंधन प्रदान करेगी और सशस्त्र बलों की परिचालन तैयारियों को बढ़ाएगी। स्वदेशी डिजाइन और विकास को और अधिक प्रोत्साहन प्रदान करने के लिए यह मंजूरी स्वदेशी रूप से डिजाइन, विकसित और निर्मित श्रेणी के अंतर्गत दी गई है।————