रुद्रप्रयाग, 11 मई । केदारनाथ आपदा के ग्यारह वर्ष बाद आपदा प्रभावित तीर्थपुरोहित और हक-हकूकधारियों को उनके भवनों का स्वामित्व मिलने लगा है। इन दिनों प्रशासन 94 भवनों का स्वामित्व संबंधित भवन स्वामियों को सौंप रहा है। पुनर्निर्माण के तहत प्रशासन अभी तक 164 भवन स्वामियों को भवन सौंप चुका है।

16/17 जून 2013 की आपदा में केदारनाथ में 150 से अधिक आवासीय व व्यवसायिक भवन सैलाब में बह गये थे। वहीं, इतने ही भवन व्यापक रूप से क्षतिग्रस्त हो गये थे, जिन्हें असुरक्षित चिह्नित किया गया था। पुनर्निर्माण के तहत प्रदेश सरकार ने संबंधित भवन स्वामियों के साथ अनुबंध किया था, जिके तहत उन्हें मास्टर प्लान के तहत नये भवन बनाकर सौंपने की बात कही गई थी। क्योंकि केदारनाथ में तीन चरणों में हो रहे पुनर्निर्माण के तहत अन्य निर्माण कार्यों के साथ भवन भी बनाये जा रहे हैं।

अनुबंध वाले हक-हकूकधारी व तीर्थपुरोहितों के सभी भवन एकरूपता वाले बनाये जा रहे हैं। इन भवनों का निर्माण लोक निर्माण विभाग, वुड स्टोन कंस्ट्रक्शन सहित अन्य कार्यदायी संस्थाओं के द्वारा किया जा रहा है। दो से पांच मंजिला तक बनाये जा रहे एक भवन में कई यूनिट हैं, जिससे भवन स्वामियों को आगामी समय में यात्राकाल में व्यवसायिक गतिविधि करने में मदद मिलेगी। केदारनाथ पुनर्निर्माण के तहत प्रशासन द्वारा केदारनाथ में 164 लोगों से अनुबंध किया जा चुका है। पहले चरण में दिसंबर 2023 में 46 हक-हकूकधारी व तीर्थपुरोहितों को प्रशासन ने उनके भवन तैयार कर उन्हें स्वामित्व सौंपा गया था। दूसरे चरण में 19 लोगों को नव निर्मित भवनों का स्वामित्व सौंपा गया। अब, 94 हक-हकूकधारियों और तीर्थपुरोहितों के भवन बनकर तैयार हो चुके हैं। इन दिनों

संबंधित को भवनों का स्वामित्व सौंपा जा रहा है।

केदारनाथ धाम के कपाटोद्घाटन के दिन से तहसील प्रशासन द्वारा केदारनाथ में संबंधित भवन स्वामियों को कब्जे के कागजाद प्रदान किये जा रहे हैं। वरिष्ठ तीर्थपुरोहित श्रीनिवास पोस्ती, विनोद शुक्ला, महेश बगवाड़ी, लक्ष्मीनारायण जुगराण आदि का कहना है कि केदारनाथ में पुनर्निर्माण के तहत अनुबंध वाले भवन एकरूपता वाले बनाये जा रहे हैं, जिससे केदारपुरी को नया रूप भी मिल रहा है।

अनिल कुमार शुक्ला उप जिलाधिकारी ऊखीमठ ने बताया कि अनुबंध के तहत इन दिनों 94 हक-हकूकधारी और तीर्थपुरोहितों को उनके भवन का स्वामित्व सौंपा जा रहा है। 2 मई से स्वामित्व के कागजाद संबंधित को प्रदान किये जा रहे हैं। आगामी 11 मई तक यह प्रक्रिया पूरी कर दी जाएगी। इसके अलावा धाम में अन्य पुनर्निर्माण भी जोरों पर चल रहे हैं।